भारत में औसत कृषि उत्पादन अनेक देशों से कम है, जिसके कुछ कारण हैं:
दो मुख्य फसलों के बीच ऐसी फसल का उत्पादन जिससे भूमि की उत्पादकता बरकरार रहे, फसल चक्र कहलाता है।
गेहूँ और धान के बीच ढैंचा की खेती करना सर्वश्रेष्ठ फसल चक्र माना जाता है।
बुआई: जाड़े की शुरुआत में (अक्टूबर-दिसंबर)।
कटाई: गर्मी की शुरुआत में (अप्रैल-जून)।
प्रमुख फसलें: गेहूँ, जौ, चना, मटर, सरसों, आलू
बुआई: वर्षा की शुरुआत में (जून-जुलाई)।
कटाई: जाड़े की शुरुआत में (सितंबर-अक्टूबर)।
प्रमुख फसलें: चावल, मक्का, बाजरा, उड़द, मूंग, ज्वार, कपास, अरहर, गन्ना
ये ग्रीष्मकालीन फसलें हैं।
बुआई/कटाई: रबी और खरीफ के बीच (मार्च-जून)।
प्रमुख फसलें: तरबूज, खरबूज, खीरा, ककड़ी, कद्दू, सब्जियाँ, मूंग
धान, गेहूँ, मक्का
वे फसलें जिन्हें अधिक देखभाल की जरूरत नहीं होती। कम सिंचाई तथा कम खाद में उत्पन्न की जा सकती हैं।
इन्हें गरीबों के खाद्यान्न के रूप में जाना जाता है।
उदाहरण: मक्का, बाजरा, ज्वार, जौ, रागी
चना, अरहर, मूंग, मसूर, उड़द
(मिट्टी की उर्वरता बढ़ाने में सहायक)
मूंगफली, सोयाबीन, सरसों, सूरजमुखी, तिल, कुसुम्ब, अलसी, नारियल, अरण्डी
(तेल प्राप्त होता है)
वे फसलें जिन्हें व्यवसायिक उद्देश्यों से बोया जाता है।
उदाहरण: गन्ना, कपास, चाय, कॉफी, रबर, तम्बाकू, जूट
ऐसी फसलें जिनमें पौधों की रोपाई की जाती है तथा 1 ही फसल से 3-4 वर्षों तक उत्पादन लिया जा सकता है।
उदाहरण: चाय, कॉफी, नारियल, केला, रबर, पान
60 cm से कम वर्षा वाले स्थलों में शुष्क खेती की जा सकती है। इसके तहत मोटे अनाज और दलहनी फसलों का उत्पादन किया जाता है।
| खेती का प्रकार | विवरण |
|---|---|
| एपीकल्चर | मधुमक्खी पालन |
| हार्टीकल्चर | बागवानी |
| पोमोलॉजी | फल संवर्धन |
| फ्लोरीकल्चर | फूलों की खेती |
| ओलेरीकल्चर | सब्जियों की खेती |
| विटीकल्चर | अंगूर की खेती |
| पिसीकल्चर | मत्स्य पालन |
| सेरीकल्चर | रेशमकीट पालन |
| वर्मीकल्चर | केंचुआ पालन |
| ऐयरोपानिक्स | ऐसे पौधे उगाना जिनकी जड़ें हवा में हों(मृदा रहित कृषि) |
| सिल्वीकल्चर | वन उपजों की खेती |
| मोरीकल्चर | रेशमकीट पालन के लिए शहतूत उगाना |
एक ही खेत में एक साथ कई फसलें उगाना crop-intensity कहलाता है।
उदाहरण: गेहूँ के साथ जौ या सरसों को बोना।
प्रमुख उत्पादक राज्य:
प्रति हेक्टेयर उत्पादन: पंजाब प्रथम स्थान पर है
छत्तीसगढ़ को धान का कटोरा कहा जाता है
प्रमुख किस्में: जया, पद्मा, जगन्नाथ, कृष्णा, पंकज
प्रमुख उत्पादक राज्य:
तमिलनाडु एकमात्र राज्य है जहाँ गेहूँ का उत्पादन नहीं किया जाता
प्रमुख किस्में: सोनालिका, साबरमती, हीरा, मोती, सोना, RR-21
प्रमुख उत्पादक राज्य:
यह भारत की तीसरी सबसे बड़ी फसल है
प्रमुख किस्में: जवाहर, विजय, अम्बर, DECCEN
| फसल | प्रमुख उत्पादक राज्य |
|---|---|
| बाजरा | महाराष्ट्र |
| ज्वार | महाराष्ट्र |
| मोटा अनाज | राजस्थान, कर्नाटक, महाराष्ट्र |
| दलहन | मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश, राजस्थान |
| चना | मध्य प्रदेश |
| तिलहन | मध्य प्रदेश, राजस्थान, गुजरात |
| मूंगफली | गुजरात |
| सोयाबीन | मध्य प्रदेश |
| सरसों | राजस्थान, उत्तर प्रदेश |
| नारियल | केरल |
| सूरजमुखी | कर्नाटक |
प्रमुख उत्पादक राज्य:
चीनी उत्पादन: महाराष्ट्र का प्रथम स्थान है
प्रमुख उत्पादक राज्य:
इसे सफेद सोना कहा जाता है
प्रमुख उत्पादक राज्य:
जूट को सुनहरा रेशा भी कहा जाता है
प्रमुख उत्पादक राज्य:
प्रमुख उत्पादक राज्य:
भारत अकेला देश है जहाँ सभी 4 प्रकार का रेशम उगाया जाता है:
| फसल | प्रमुख उत्पादक राज्य |
|---|---|
| चाय | असम, पश्चिम बंगाल, तमिलनाडु |
| कॉफी | कर्नाटक |
| फल | आंध्र प्रदेश, महाराष्ट्र, तमिलनाडु |
| सब्जी | पश्चिम बंगाल, उत्तर प्रदेश |
| मसाले | केरल |
| प्याज | महाराष्ट्र |
| आलू | उत्तर प्रदेश, पश्चिम बंगाल, बिहार |
| केसर | जम्मू-कश्मीर |
| अफीम | उत्तर प्रदेश |
Buffer stock में सर्वाधिक योगदान पंजाब द्वारा किया जाता है, जिसे भारत का अन्न भण्डार कहा जाता है।